These NCERT Solutions for Class 8 Hindi Vasant & Bharat Ki Khoj Class 8 Chapter 7 अंतिम दौर-दो Questions and Answers Summary are prepared by our highly skilled subject experts.
Class 8 Hindi Bharat Ki Khoj Chapter 7 Question Answers Summary अंतिम दौर-दो
Bharat Ki Khoj Class 8 Chapter 7 Question and Answers
प्रश्न 1.
प्रथम विश्वयुद्ध का भारत पर क्या प्रभाव पड़ा?
उत्तर:
प्रथम विश्वयुद्ध की समाप्ति पर देश में राहत और प्रगति के बजाय दमनकारी कानून और पंजाब में मार्शल लॉ लागू हुआ। जनता में अपमान की कड़वाहट और क्रोध फैल गया। शोषण का बाजार गर्म था।
प्रश्न 2.
गाँधी जी का आगमन कैसा था?
उत्तर:
गाँधी जी का आगमन एक ताजा हवा के झोंके की तरह था। उन्होंने हमें गहरी सांस लेने योग्य बनाया। गाँधी जी की शिक्षा का सार था निर्भयता और सत्य और इनसे जुड़ा कर्म। गाँधी जी ने भारत के करोड़ों लोगों को प्रभावित किया।
प्रश्न 3.
गाँधी जी के नेतृत्व पर प्रकाश डालिए।
उत्तर:
जब गाँधी जी ने पहली बार कांग्रेस संगठन में प्रवेश किया, तब तत्काल इसके संविधान में परिवर्तन ला दिया। उनका तरीका शांतिपूर्ण था। उनमें मुकाबला करने की भरपूर शक्ति थी। उनकी कांग्रेस का मुख्य आधार था-राष्ट्रीय एकता। इनमें अल्पसंख्यकों की समस्याओं को हल करना और दलित जातियों को ऊपर उठाने के साथ छुआछूत के अभिशाप को खत्म करना। गाँधी जी ने अंग्रेजी शासन की बुनियाद पर चोट किया। गाँधी जी निवृत्ति मार्ग के विरोधी थे। आर्थिक, सामाजिक और दूसरे मामलों में गाँधी जी के विचार सख्त थे।
प्रश्न 4.
गाँधी जी के व्यक्तित्व पर प्रकाश डालिए।
उत्तर:
गाँधी जी मूलतः धर्म-परायण व्यक्ति थे। कर्म संबंधी अवधारणा का किसी सिद्धांत, परंपरा या कर्मकांड से संबंध नहीं था। वे सत्य और अहिंसा के सिद्धांतों में विश्वास करते थे। उनकी कथनी और करनी में अंतर नहीं होता था। वे गरीबों और स्त्रियों के लिए कार्य करते थे।
प्रश्न 5.
गाँधी जी ने भारतीय संस्कृति के बारे में क्या कहा?
उत्तर:
गाँधी जी ने कहा कि भारतीय संस्कृति न हिंदू है न इस्लाम, न पूरी तरह से कुछ और है। यह सबका मिला-जुला रूप है।
प्रश्न 6.
लेखक ने किसे अद्भुत तेजस्वी व्यक्ति कहा है?
उत्तर:
लेखक ने गाँधी जी को अद्भुत तेजस्वी व्यक्ति कहा है जिसका पैमाना सबसे गरीब व्यक्ति है। उन्होंने भारत की जनता को सम्मोहित कर लिया और उन्हें चुंबक की तरह सम्मोहित किया।
प्रश्न 7.
मोहम्मद अली जिन्ना के क्या विचार थे?
उत्तर:
मोहम्मद अली जिन्ना की माँग का आधार एक नया सिद्धांत था-भारत में दो राष्ट्र हैं-हिंदू और मुसलमान। इनके दो राष्ट्रों के सिद्धांत से पाकिस्तान या भारत के विभाजन की अवधारणा का विकास हुआ, लेकिन इससे दो राष्ट्रों की समस्या का हल नहीं हुआ।
प्रश्न 8.
कांग्रेस किन प्रश्नों पर अडिग रही?
उत्तर:
कांग्रेस दो प्रश्नों पर अडिग रही- (1) राष्ट्रीय एकता, (2) लोकतंत्र।
प्रश्न 9.
अगस्त, 1940 में कांग्रेस ने क्या घोषणा की?
उत्तर:
कांग्रेस ने कहा कि भारत में ब्रिटिश सरकार की नीति जनजीवन में संघर्ष और फूट को प्रत्यक्ष रूप से उकसाती और भड़काती है।
प्रश्न 10.
अंग्रेजों ने किसके मतभेदों को प्रोत्साहित किया?
उत्तर:
अंग्रेजों ने मुस्लिम लीग और हिंदू महासभा के मतभेदों को प्रोत्साहित किया।
Bharat Ki Khoj Class 8 Chapter 7 Summary
राष्ट्रपिता बनाम साम्राज्यवाद-
मध्यवर्ग की बेवसी : गाँधी का आगमन- पहला विश्वयुद्ध आरंभ हुआ। राजनीति उतार पर थी। यह युद्ध समाप्त हुआ और भारत में दमनकारी कानून और पंजाब में मार्शल लॉ लागू हुआ। शोषण लगातार बढ़ रहा था, तभी गाँधी जी का आगमन हुआ। गाँधी जी ने भारत में करोड़ों लोगों को प्रभावित किया। गाँधी जी ने पहली बार कांग्रेस के संगठन में प्रवेश किया। इस संगठन का लक्ष्य और आधार था-सक्रियता। इसका आधार शांतिप्रियता थी। गाँधी जी ने अंग्रेजी शासन की बुनियाद पर चोट की। कांग्रेस के पुराने नेता, जो एक अलग निष्क्रिय परंपरा में पले थे, इन नए तौर-तरीकों को आसानी से नहीं पचा पाए। ऐसा कहा जाता है कि भारतीय मूलतः निवृत्ति मार्गी है, पर गाँधी जी इस निवृत्त मार्ग के विपरीत थे। उन्होंने भारतीय जनता की निष्क्रियता के विरुद्ध संघर्ष किया। उन्होंने लोगों को गाँव की ओर भेजा। देहात में हलचल मच गई। गाँधी जी मूलतः धर्मप्राण व्यक्ति थे। वे भारत को अपनी इच्छाओं तथा आदर्शों के अनुसार ढाल रहे थे। वे सभी को समान अधिकार देने के पक्षपाती थे। इस अद्भुत तेजस्वी आदमी का पैमाना सबसे गरीब आदमी था। कांग्रेस पर गाँधी जी का प्रभुत्व था। सन् 1920 में नेशनल कांग्रेस ने काफी हद तक देश में एक नए रास्ते को अपना लिया। सविनय अवज्ञा आंदोलन शुरू हुआ और उसके कारण बहुत कष्ट उठाने पड़े, लेकिन उससे ताकत ही प्राप्त हुई।
अल्पसंख्यकों की समस्या : मुस्लिम लीग-मोहम्मद अली जिन्ना- राजनीतिक मामलों में धर्म का स्थान साम्प्रदायिकता ने लिया था। कांग्रेस सांप्रदायिक हल निकालने के लिए उत्सुक और चिंतित थी। कांग्रेस की सदस्य संख्या में मुख्य रूप से हिंदू थे। कांग्रेस दो बुनियादी प्रश्नों पर अडिग रही-राष्ट्रीय एकता और लोकतंत्र। 1940 में कांग्रेस ने घोषणा की कि भारत में ब्रिटिश सरकार की नीति जनजीवन में संघर्ष और फूट को प्रत्यक्ष रूप से उकसाती और भड़काती है।
बीते दिनों में अंग्रेजों की नीति मुस्लिम लीग और हिंदू सभा के मतभेदों को प्रोत्साहित करके उन पर बल देने की और साम्प्रदायिक संगठनों को कांग्रेस के विरुद्ध महत्त्व देने की रही।
मिस्टर जिन्ना की माँग का आधार एक नया सिद्धांत था-भारत में दो राष्ट्र हैं-हिंदू और मुसलमान। यदि राष्ट्रीयता का आधार धर्म है तो भारत में बहुत से राष्ट्र हैं। मिस्टर जिन्ना के दो राष्ट्रों के सिद्धांत से पाकिस्तान या भारत के विभाजन की अवधारणा का विकास हुआ। लेकिन उससे दो राष्ट्रों की समस्या का हल नहीं हुआ, क्योंकि वे तो पूरे देश में थे।